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Thursday, January 20, 2022

कुछ ऐसे ही | KUCH AISE HI | HINDI POETRY ON STRUGGLE IN LOVE LIFE

कुछ ऐसे ही









किसी से इश्क़ होना गुनाह नहीं है

हर कसूर की सजा मिले ज़रूरी नहीं है ,

यह चाहत ही कुछ ऐसी है जनाब !

जिससे हो जाये उससे शिकायत नहीं है। 


हर बात सबसे कहे मुनासिफ नहीं है

बस हाले दिल बयान करे तो ही सही है  ,                            

ये आदत ही कुछ ऐसी है जनाब !

 मिले जिससे दिल बस विश्वास वही है 


हर राह पे हो फूल मुमकिन तो नहीं है

ठोकरो के बिना जीत मिले तो वो जीत नहीं है  ,

ये जिंदगी ही कुछ ऐसी है जनाब !

कांटे हो जहाँ मिलता फूल वही है । 

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